Headline
आरबीआई ₹500 को वापस लेने के बारे में नहीं सोच रहा, ₹1,000 के नोट फिर से पेश करेगा: गवर्नर
पाकिस्तानी पत्रकार वुसतुल्लाह खान ने कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तानी जिहादियों POK नेताओं फारूक अब्दुल्ला महबूबा मुफ्ती का किया पर्दाफाश, वीडियो वायरल
अवास्तविक सौदा! Amazon पर Samsung Galaxy A23 की कीमत में 31% की कटौती; अधिक ऑफ़र उपलब्ध हैं
निर्वासन का सामना कर रहे कनाडा में भारतीय छात्रों पर जयशंकर: ‘दंड देना अनुचित’ | भारत की ताजा खबर
व्हाट्सएप ने ‘चैनल’ की घोषणा की, फॉलोअर्स के साथ अपडेट साझा करने के लिए वन-वे टूल
IGNOU TEE जून 2023 एडमिट कार्ड ignou.ac.in पर जारी, लिंक प्राप्त करें | प्रतियोगी परीक्षाएं
शिल्पा शेट्टी को जन्मदिन की बधाई देते हुए राज कुंद्रा ने किया दीपिका पादुकोण का जिक्र | बॉलीवुड
भारत के गेंदबाजी कोच पारस म्हाम्ब्रे ने खुलासा किया कि उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेल के लिए आर अश्विन को क्यों बाहर किया
यूक्रेन बाढ़: रूस से युद्ध कर रहे यूक्रेन का सबसे बड़ा बांध जाम, बाढ़ में डूबे इंसान में ऐसा मचा रही तबाही

बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट के लिए जापान देगा हजारों भारतीय इंजीनियरों को ट्रेनिंग


जापान बुलेट ट्रेन: भारत में बुलेट ट्रेन (बुलेट ट्रेन) पर पिछले कई सालों से काम चल रहा है। इस प्रोजेक्ट के लिए जापान (जापान) की रेलवे टेक्निकल ट्वेंटी (JARTS) मदद कर रही है। जापान रेलवे टेक्निकल नौ (JARTS) के 20 स्पेशलिस्ट की एक टीम मुंबई-अहमदाबाद एचएसआर कॉरिडोर के टी-2 237 किमी वापी-वडोदरा पैकेज के लिए 1000 भारतीय इंजीनियर और यात्रियों को हाई-स्पीड रेल (HSR) ट्रैक दिखा रही है। .

जापान की कंपनी बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट के तहत लंबे समय तक ट्रैक को काम करने के लिए बिना गिट्टी के निर्धारण ट्रैक बनाने की तकनीक पर काम कर रही है। ट्रैक को बनाने के लिए जापानी अधिकारियों ने कहा कि केवल टेक्स्ट और सर्टिफाइड इंजीनियर/तकनीशियन ही ट्रैक बनाने की जगह पर काम करेंगे।

एचएसआर टेक्नोलॉजी रेलवे ट्रैक के लिए जरूरी
जापान रेलवे टेक्निकल सात (JARTS) शिंकानसेन HSR टेक्नोलॉजी को लोकेशन करने में भी मदद करेगा। रेलवे ट्रैक एचएसआर टेक्नोलॉजी सिस्टम से बनाया जा सकता है। स्टेट बनाने के लिए हाई लेवल के साथ-साथ एक्सपोजर भी जरूरी है, जो शिंकानसेन ही देने में मदद करते हैं। जापानी कंपनी 15 अलग-अलग ट्रैको पर काम कर रही है।

इसके लिए साइट पर माइनाजमेंट करने के तरीके को लेकर लोगों को सीखना होगा। इन अटैचमेंट पर ट्रैक पक्का बनाने के काम में कंक्रीट ट्रैक-बिस्तर बनाने के तरीके शामिल हैं। इन सभी चीजों के लिए जरूरी शिक्षा और कोड देना का काम जापानी कंपनी करती है। इसके लिए सज्जा में विशेष रूप से तीन ट्रेल लाइन के साथ एक प्रशिक्षण सुविधा की भी शुरुआत की गई है।

एनएचएसआरसीएल के डायरेक्टर ने ट्रेनिंग पर कहा
National High-Speed ​​Rail Corporation Limited (NHSRCL) के प्रबंध निदेशक राजेंद्र प्रसाद ने जापानी कंपनी की तरफ से सीखने देने की बात पर कहा कि ये भारतीय इंजीनियर और चक्करों के लिए जापानी हाई स्पीड रेल ट्रैक सिस्टम तकनीक सीखने का एक अकेला अवसर है। इस परियोजना में 1000 से अधिक भारतीय इंजीनियरों और संबद्धों में 20 जापानी नामांकन की दिशा में शिक्षा दी जाएगी।

ये भी पढ़ें:Japan Hakuto-R: जापान का सपना टूटा, चांद पर दुनिया का पहला निजी लैंडर गिरने में हुआ हादसा

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top